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ये है देश का सबसे छोटा एक्सप्रेसवे! शुरू होते ही खत्म हो जाता है सफर

WHAT'S THE STORY?

देश में एक्सप्रेसवे का जाल बिछाया जा रहा है। स्वर्ण चतुर्भुज जैसी योजनाओं से देश के तमाम हिस्सों को जोड़ा जा रहा है। दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे, समृद्धि

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महामार्ग, बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे, यमुना एक्सप्रेसवे, आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे जैसे तमाम प्रोजेक्ट देश की रफ्तार बढ़ा रहे हैं। इन एक्सप्रेसवे से देश का रोड नेटवर्क तेजी से बढ़ रहा है। देश में विश्वस्तरीय एक्सप्रेसवे बनने से कनेक्टिविटी बढ़ने के साथ ही ट्रैवेल टाइम भी घट रहा है। तमाम शहरों और इलाकों को जोड़ने के लिए बड़े-बड़े एक्सप्रेसवे बनाए जा रहे हैं। बड़े-बड़े एक्सप्रेसवे की भीड़ में क्या आप जानते हैं कि देश का सबसे छोटा एक्सप्रेसवे कौन सा है और उसकी लंबाई कितनी है? चलिए जानते हैं -

सबसे छोटे एक्सप्रेसवे का नाम (Shortest Expressway in India)

बात देश के सबसे छोटे एक्सप्रेसवे की हो रही है तो बता दें कि वह दुर्ग बायपास एक्सप्रेसवे है। दुर्ग बायपास एक्सप्रेसवे छत्तीसगढ़ में मौजूद है और इसे देश का सबसे छोटा एक्सप्रेसवे कहा जाता है। यह एक्सप्रेसवे भले ही देश का सबसे छोटा एक्सप्रेसवे हो, लेकिन दुर्ग, भिलाई व राजधानी रायपुर के लिए यह काफी महत्वपूर्ण है।

कितना लंबा है दुर्ग बायपास एक्सप्रेसवे?

दुर्ग बायपास एक्सप्रेसवे देश का सबसे छोटा एक्सप्रेसवे है और यह मात्र 18 किमी लंबा है। इतना छोटा एक्सप्रेसवे होने के बावजूद इसका काफी महत्व है। यह स्थानीय लोगों के साथ ही इंटरस्टेट मूवमेंट में अहम भूमिका निभाता है। इस एक्सप्रेसवे को राष्ट्रीय राजमार्ग 53 (NH-53) पर ट्रैफिक के दबाव को कम करने के लिए बनाया गया है।

दुर्ग बायपास एक्सप्रेसवे से क्या फायदा हुआ?

इस एक्सप्रेसवे के बन जाने के बाद महाराष्ट्र से ओडिशा और छत्तीसगढ़ की ओर जाने वाले लोगों को काफी सहूलियत हुई है। बायपास बनने से गाड़ियों को शहर के ट्रैफिक में फंसे बिना आगे बढ़ने में मदद मिलती है। इससे शहर में भी जाम की समस्या कम हुई है। प्रदूषण में कमी आई हौ और इंटस्ट्रियल ट्रांस्पोर्ट को मदद मिली है।

दुर्ग बायपास एक्सप्रेसवे भले ही बहुत छोटा हो, लेकिन इसकी स्ट्रैटजिक इम्पॉर्टेंस है। यह दुर्ग, भिलाई और रायपुर जैसे महत्वपूर्ण औद्योगिक क्षेत्रों को जोड़ता है। इससे सामान को तेजी से अपने गंतव्य तक पहुंचाने में मदद मिलती है। यह बायपास एक्सप्रेसवे खासतौर पर भारी वाहनों के लिए काफी महत्वपूर्ण है। यह भारी वाहन शहर में ट्रैफिक जाम का कारण बनते थे।

देश के अन्य छोटे एक्सप्रेसवे

दुर्ग बायपास एक्सप्रेसवे के पास देश के सबसे छोटे एक्सप्रेसवे का ताज है, लेकिन देश में अन्य भी कई छोटे एक्सप्रेसवे है। चलिए जानते हैं, उनके नाम।

  • द्वारका एक्सप्रेसवे - दिल्ली और गुरुग्राम के बीच बना यह एक्सप्रेसवे मात्र 28 किमी लंबा है। यह एक्सप्रेसवे NH-48 का हिस्सा है और दिल्ली-एनसीआर के सबसे व्यस्त एक्सप्रेसवे में से एक है।
  • जयपुर-बांदीकुई एक्सप्रेसवे - जयपुर और बांदीकुई के बीच बना यह 67 किमी लंबा एक्सप्रेसवे जयपुर और दिल्ली के बीच सफर को आसान बनाता है। क्योंकि यह एक्सप्रेसवे बांदीकुई में दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे से जुड़ता है।
  • दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे - राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली को गाजियाबाद के रास्ते मेरठ से जोड़ता है यह एक्सप्रेसवे। सिर्फ 82 किमी लंबे इस एक्सप्रेसवे के बन जाने से दिल्ली को मेरठ से जोड़ने वाले NH 58 का ट्रैफिक दबाव कम करने में मदद मिली है।
  • जयपुर-किशनगढ़ एक्सप्रेसवे - 90 किमी लंबा यह एक्सप्रेसवे राजस्थान में जयपुर को किशनगढ़ से जोड़ता है।

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